बंगलूरू: कर्नाटक में छोटे और सूक्ष्म व्यापारियों को जीएसटी नोटिस भेजे जाने पर सियासी घमासान तेज हो गया है। प्रदेश भाजपा अध्यक्ष बी.वाई. विजयेंद्र ने मुख्यमंत्री सिद्धारमैया पर निशाना साधते हुए आरोप लगाया है कि उन्होंने राजस्व लक्ष्य तय करके वाणिज्य कर विभाग पर दबाव बनाया, जिससे छोटे व्यापारियों को नोटिस भेजे जा रहे हैं। विजयेंद्र ने इन नोटिसों को तत्काल वापस लेने की मांग की है।

विजयेंद्र ने कहा कि राज्यभर में छोटे व्यापारियों को उनके यूपीआई लेन-देन के आधार पर जीएसटी नोटिस थमाए जा रहे हैं। इससे व्यापारी समुदाय में भारी चिंता फैल गई है। कई व्यापारी संगठनों ने इस फैसले का विरोध करते हुए 25 जुलाई को राज्यव्यापी हड़ताल का ऐलान किया है। भाजपा ने भी इस आंदोलन को समर्थन देने की घोषणा की है।

मुख्यमंत्री पर लक्ष्य आधारित टैक्स वसूली का आरोप
भाजपा अध्यक्ष ने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री ने खुद यह बयान दिया था कि कर्नाटक को जीएसटी संग्रहण में महाराष्ट्र से आगे निकलना है। इसी लक्ष्य को पूरा करने के लिए अधिकारियों पर दबाव बनाकर छोटे व्यापारियों को बिना उचित जांच के 18 प्रतिशत टैक्स स्लैब के नोटिस भेजे जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि दूध और दही बेचने वाले जैसे छोटे विक्रेताओं को भी नोटिस भेजे गए हैं।

सरकारी खजाना खाली, इसलिए हो रही मनमानी- विजयेंद्र
विजयेंद्र का कहना है कि राज्य सरकार के पास पैसे नहीं हैं, इसलिए अधिकारियों को लक्ष्य देकर किसी भी तरीके से टैक्स वसूली के लिए कहा जा रहा है। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि ये नोटिस तुरंत वापस नहीं लिए गए तो भाजपा आंदोलन को और तेज करेगी। उन्होंने सीएम से अपील की कि इस ‘अन्यायपूर्ण अभियान’ को तत्काल रोका जाए।

MUDA केस में पत्नी को राहत लेकिन सीएम नहीं बचे: विजयेंद्र
MUDA प्लॉट आवंटन केस में सुप्रीम कोर्ट द्वारा सिद्धारमैया की पत्नी के खिलाफ ईडी की याचिका खारिज किए जाने पर भी विजयेंद्र ने प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि कोर्ट का फैसला स्वागत योग्य है, लेकिन इससे यह साबित नहीं होता कि मुख्यमंत्री और उनका परिवार निर्दोष हैं। भाजपा का यह रुख कायम है कि पूरे परिवार की भूमिका की जांच जरूरी है। उन्होंने इस मामले में सीबीआई जांच की मांग दोहराई।

कांग्रेस पर जवाबी प्रदर्शन की चेतावनी
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने यह भी आरोप लगाया कि कांग्रेस कार्यकर्ता भाजपा मुख्यालय के बाहर जानबूझकर उपद्रव कर रहे हैं। उन्होंने कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष डी. के. शिवकुमार को चेतावनी दी कि अगर यह रवैया जारी रहा तो भाजपा कार्यकर्ता भी केपीसीसी कार्यालय के बाहर प्रदर्शन करेंगे। उन्होंने कहा कि विरोध के लिए स्वतंत्रता पार्क जैसे तय स्थान हैं, सड़कों पर गुंडागर्दी नहीं चलेगी।

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