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हेल्थ

गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल सिस्टम की गुणवत्ता में सुधार के लिए खाएं गांठ गोभी

गांठ गोभी खाने को हमारे देश में कई नामों से जाना जाता है. यह एक शरदकालीन सब्जी है. इसकी खेती बंदगोभी और फूलगोभी की मुकाबले में कम की जाती है.

 

इसकी ज्यादातर खेती कश्मीर, महाराष्ट्र,  बंगाल, आसाम, उत्तर प्रदेश, बिहार, पंजाब या फिर दक्षिण भारत के कुछ इलाकों कोहलराबी में विटामिन सी, एंथोसायनिन और आइसोथियोसाइनेट जैसे एंटीऑक्सिडेंट्स की भरपूर मात्रा पाई जाती है. यह आपके सेल्स को फ्री रेडिकल डैमेज से बचाता है. एंटीऑक्सीडेंट्स की उच्च मात्रा डायबिटीज और पेट संबंधी बीमारी को कम करने में मददगार है.

पाचन में करता है सुधार
कोहलराबी डायटरी फाइबर का एक अच्छा स्त्रोत है, जो डाइजेस्टिव हेल्थ में सुधार करता है. फाइबर खाने से कब्ज, ऐंठन और सूजन की समस्या नहीं होती. यह आम तौर पर गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल सिस्टम की गुणवत्ता में सुधार करता है.

वजन करता है कम
कोहलराबी को वजन कम करने वाले डाइट के लिए एकदम सही सब्जी कहा जाता है. दरअसल यह कैलोरी में कम है, फाइबर में उच्च है, और लाभकारी पोषक तत्वों के साथ पैक किया जाता है. फाइबर हमें लंबे समय तक भरा हुआ महसूस कराता है.

सेब के अधिक सेवन से सेहत को होने वाले नुकसान और फायदें

किसी भी चीज की अधिकता सेहत के लिए हानिकारक होती है। फिर चाहे वो फल हो या फिर सब्जी या फिर फास्ट फूड। सेब एक ऐसा फल है जो आपको बाजार में 12 महीने आराम से मिल जाएगा। सेहत के लिए भी अच्छा होता है। लेकिन क्या आपको पता है सेब का अधिक सेवन करना भी आपकी सेहत पर भारी पड़ सकता है। जानें सेब के अधिक सेवन से सेहत को कौन कौन से नुकसान हो सकते हैं।

 

आप एक दिन में कितने सेब खा सकते हैं? शोध के मुताबिक एक व्यक्ति एक दिन में एक से दो सेब खा सकता है. लेकिन अगर आप इसका अधिक मात्रा में सेवन कर रहे हैं तो संभवतः इसके कुछ खतरनाक प्रभाव हो सकते हैं.

पाचन संबंधी समस्याएं
फाइबर हमारे पाचन स्वास्थ्य को बेहतर बनाता है. लेकिन बहुत अधिक मात्रा में इसका सेवन पाचन संबंधित समस्याओं का कारण बन सकता है.

यह आपके दांतों को नुकसान पहुंचा सकता है

सेब अम्लीय होते हैं. इसका बहुत अधिक सेवन आपके दांतों को नुकसान पहुंचा सकता है.

एलर्जी
सेब उन लोगों के लिए बल्कुल ठीक नहीं है जिन लोगों को इसे खाने से एलर्जी का अनुभव होता है.

ज्यादा मात्रा में बादाम खाना आपकी सेहत के लिए हैं नुकसानदायक

पुरानी कहावत है कि बादाम खाने से दिमाग तेज हो जाता है। बादाम कई मायनों में शरीर के लिए फायदेमंद होता है, लेकिन बादाम कम मात्रा में ही खाने चाहिए। ज्यादा मात्रा में बादाम खाना आपकी सेहत के लिए नुकसानदायक हो सकता है। अत्यधिक मात्रा में बादाम खाने से किडनी में पथरी की समस्या भी हो सकती है। बादाम के साइड इफेक्ट्स के बारे में कम लोग ही जानते हैं।

कब्ज
अगर आप बादाम का अधिक मात्रा में सेवन करते हैं तो यह कब्ज, सूजन और आपके पेट में परेशानी पैदा कर सकता है. बादाम फाइबर से भरपूर होते हैं. बादाम के अधिक सेवन से होने वाले अन्य गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल लक्षण हैं जैसे- सूजन, गैस, पेट में ऐंठन और दस्त आदि.

एलर्जी
कुछ लोगों को बादाम खाने से एलर्जी हो सकती है. इसके लक्षणों में मुंह में खुजली, गले में खराश और जीभ, मुंह और होंठ में सूजन शामिल हैं. जिन लोगों को इससे एलर्जी है उन्हें इसका सेवन नहीं करना चाहिए.

वजन बढ़ना
बादाम में वसा की मात्रा और कैलोरी अधिक होती है. इसका एक बड़ा हिस्सा मोनोसैचुरेटेड वसा का है, जो हृदय के लिए स्वस्थ हैं. अगर आप व्यायाम नहीं करते हैं और आपकी लाइफस्टाइल ठीक नहीं है तो इससे आपके शरीर में वसा जमा हो सकती है. इसलिये इसका सेवन सीमित मात्रा में करें.

तकनीकी सहायक के पदों पर यहाँ निकली भर्ती, ऐसे करें आवेदन

अन्ना विश्वविद्यालय  में नौकरी  पाने का एक शानदार अवसर निकला है।ANNA UNIVERSITYने तकनीकी सहायक के पदों  को भरने के लिए आवेदन मांगे हैं।

इच्छुक एवं योग्य उम्मीदवार जो इन रिक्त पदों  के लिए आवेदन करना चाहते हैं, वेANNA UNIVERSITYकी आधिकारिक वेबसाइटannauniv.eduपर जाकर अप्लाई कर सकते हैं। इन पदों  के लिए अप्लाई करने की अंतिम तिथि 25 फरवरी 2023 है।

महत्वपूर्ण तिथियां

ऑनलाइन आवेदन करने की आखरी तारीख-25 फरवरी 2023

लोकेशन- चेन्नई

 पदों काविवरण

पदों की कुल संख्या– तकनीकी सहायक -2 पद

 योग्यता 

तकनीकी सहायक: मान्यता प्राप्त संस्थान से सिविल में बी.टेक डिग्री प्राप्त हो और अनुभव हो

 उम्र सीमा

उम्मीदवारों की आयु विभाग के नियमानुसार मान्य होगी।

 चयन प्रक्रिया 

साक्षात्कार के आधार पर किया जाएगा।

आवेदन कैसे करें

इच्छुक और योग्य उम्मीदवारANNA UNIVERSITYकी आधिकारिक वेबसाइट (annauniv.edu) के माध्यम से 25 फरवरी 2023 तक आवेदन कर सकते हैं। इस सबंध में विस्तृत जानकारी के लिए आप ऊपर दिए गए आधिकारिक अधिसूचना को देखें।

 

मोटापा बढ़ने की वजह से आपके स्वास्थ्य को हो सकती हैं तमाम समस्याएँ

आज के समय में मोटापा बढ़ने की वजह केवल खान-पान नहीं रह गया है। बल्कि बदला हुआ लाइफ स्टाइल भीजिनका प्रयोग करके आप मोटापे की समस्या से निजात पा सकते है, जो कि आपके स्वस्थ रहने के लिए अत्यन्त आवश्यक है।  इसके लिए बहुत अधिक जिम्मेदार है। हमारे खाने की प्लेट में न केवल फास्ट फूड ने तेजी से जगह बनाई है

 

जिससे शरीर बेडौल हो जाता है। स्वास्थ्य की तमाम समस्याओं के मूल में यह मोटापा ही रहता है। इससे निजात पाना आज के दौर में अत्यन्त आवश्यक है, क्योंकि हमारा खानपान अब पहले जैसा नहीं रहा है।

उपाय के अनुसार, शहद में लगाकर मूली खावें। मोटापा कम करने में प्रभावी होती है।

उपाय- सोंठ, सोंफ, चव्य, वायबिडंग, काला नमक – इनका चूर्ण दो माशा गाय के मठे के साथ नित्य खावें।

उपाय- बेर की पत्ती, अनार की कली, गिलोय, अरंड की जड़, ढाक के फूल – इन पाँचों को एक – एक मासे लेकर आधा पाव पानी में पीस लें और मिश्री मिलाकर पीवें।

 

बदलते मौसम में सर्दी खांसी से हैं परेशान तो आजमाने ये सरल उपाए

अक्सर बदलते मौसम में इन्फेक्शन के कारण सर्दी खांसी की समस्या हो जाती है गले में कफ या सूखी खांसी होने पर जल्दी आराम नहीं मिलता है अधिक खांसी होने पर फेफड़ों में भी दर्द होने लगता है

लोग खांसी की समस्या से छुटकारा पाने के लिए कफ सिरप पीते हैं, पर कोई लाभ नहीं होता है आज हम आपको कुछ ऐसे तरीके बताने जा रहे हैं जिनके प्रयोग से आप सूखी खांसी  कफ की समस्या से छुटकारा पा सकते हैं

1- सूखी खांसी की समस्या से छुटकारा पाने के लिए सूखे आंवले  मुलेठी के पाउडर को खाली पेट में गुनगुने पानी के साथ लें

2- आधा चम्मच शहद में दालचीनी पाउडर मिलाकर पीने से खांसी की समस्या अच्छा हो जाती है

3- सूखी खांसी  कफ की समस्या से छुटकारा पाने के लिए गर्म पानी में काली मिर्च के 2 दाने डालकर गरारे करें ऐसा करने से आपको आराम मिलेगा

4- आधा चम्मच प्याज के रस में एक छोटा चम्मच शहद डालकर दिन में दो बार सेवन करें ऐसा करने से सूखी खांसी  कफ की समस्या अच्छा हो जाती है

बॉडी में आयरन की पर्याप्त मात्रा न होने पर हो सकती हैं ये दिक्कतें

सेहतमंद रहने के लिए बॉडी को कई प्रकार के पोषक तत्वों की जरूरत होती है आयरन इनमें से एक जरूरी पोषक तत्व है आयरन हमारे पूरे बॉडी को ऑक्सीजन सप्लाई करने का कार्यकरता है बॉडी में आयरन की पर्याप्त मात्रा होने पर सारी कोशिकाएं ऊर्जा  एनर्जी से भरपूर रहती हैं

अगर बॉडी में आयरन की कमी हो तो आपको थकान, भूख न लगना, स्कीन का रंग पीला पड़ना, सांस लेने में तकलीफ, सिर दर्द, चिड़चिड़ापन, चक्कर आना या एनीमिया जैसी बीमारियां हो सकती हैं आज हम आपको कुछ ऐसे आहार के बारे में बताने जा रहे हैं जिनका सेवन करने से आयरन की कमी को पूरा किया जा सकता है

1- पालक, सरसों का साग, मेथी, सोयाबींस, शलगम  हरी सब्जियों में आयरन की भरपूर मात्रा पाई जाती है प्रतिदिन इनका सेवन करने से आयरन की कमी को पूरा किया जा सकता है

2- आलू में फाइबर, विटामिन सी, विटामिन बी सिक्स, पोटेशियम के साथ साथ आयरन की भी भरपूर मात्रा पाई जाती है अगर आप आयरन की कमी को दूर करना चाहते हैं तो अपने खाने में आलू को जरूर शामिल करें

3- मशरूम में भी भरपूर मात्रा में आयरन मौजूद होता है प्रतिदिन मशरूम का सेवन करने से आयरन की कमी को पूरा किया जा सकता है

4- अगर आप आयरन की कमी को पूरा करना चाहते हैं तो टमाटर का सेवन जरूर करें टमाटर में आयरन  विटामिन सी की भरपूर मात्रा पाई जाती है कच्चे टमाटर में आयरन की मात्रा कम होती है इसलिए हमेशा के लाल टमाटर का सेवन करें

कमजोर हड्डियां, मांसपेशियां हैं बुरे स्वास्थ्य के संकेत ! आज ही करें इससे बचाव

खराब खान-पान की वजह से लोगों को आजकल तमाम तरह की बीमारियों का सामना करना पड़ रहा है। हैरानी की बात यह है कि अधिकतर पुरुष बहुत कम उम्र में कमजोर हड्डियां, कमजोर मांसपेशियां, कामेच्छा की कमी, ऊर्जा शक्ति कम होना, दिल और पेट संबंधी समस्याओं से पीड़ित हैं।

बेहतर डाइट में बदलाव करके आप इन समस्याओं से छुटकारा पा सकते हैं। हम आपको एक ऐसी चीज के बारे में बता रहे हैं जिसका सेवन खाना खाने के बाद करने पर शरीर को बेहद लाजवाब फायदे मिलते हैं।

1) यदि आपको कोई मानसिक रोग है तो आप सोयाबीन को अपनी डाइट में शामिल करें। सोयाबीन मानसिक संतुलन को ठीक करके दिमाग को तेज करता है।
2) सोयाबीन हड्ड‍ियों के लिए लाभदायक है। यह हड्ड‍ियों को पोषण देता है जिससे वे कमजोर नहीं होती और हड्डी टूटने का खतरा भी कम होता है। इसका सेवन हड्ड‍ियों की सघनता को बढ़ाने में सहायक है।
3) मुधमेह रोगियों को सोयाबीन का सेवन करने से मूत्र सम्बन्धित परेशानी से निजात मिलता है मधुमेह रोगी को सोयाबीन से बनी रोटी आदि का सेवन करना लाभदायक है।

तुलसी के बीज से आपके शरीर को मिलेंगे ये फायदें, एक बार जरुर देखें

हमारे देश में तुसली का धार्मिक और आयुर्वेदिक महत्व बहुत ज्यादा है. लगभग हर घर में तुलसी का पौधा जरूर होता है. तुलसी का उपयोग कई तरह के स्वास्थ्य संबंधित रोगों में किया जाता है.

तुलसी मिल्क बनाने के लिए आपको सबसे पहले डेढ़ गिलास दूध को उबालना है. दूध के उबलने पर इसमें 8 से 10 तुलसी की पत्तियां डालकर उसे और थोड़ी देर उबालना है. जब दूध लगभग एक गिलास रह जाए तब गैस बंद कर दें.

दूध के हल्का गुनगुना होने पर इसका सेवन करें. याद रखें इस दूध का नियमित सेवन करने से ही आपकी इम्यूनिटी स्टॉग बनेगी और आप कई तरह के रोगों से दूर रहेंगे.

तुलसी में मौजूद औषधीय गुण हमें कई बीमारियों के खतरे से भी दूर रखते हैं. रोज तुलसी के पत्ते खाने से शरीर स्वस्थ रहता है. इसके अलावा तुलसी शरीर में मौजूद संक्रमण को खत्म करने का काम भी करती है.

अगर आपके शरीर में किसी तरह की कोई सूजन हैं तो तुलसी के बीजों का सेवन करने से आपको फायदा होगा. तुलसी के बीज में एंटी इंफ्लामेट्री गुण पाए जाते हैं जो शरीर की सूजन को कम करते हैं. इसके अलाव लूज मोशन होने पर भी तुलसी के बीज फायदा करते हैं.

 

विटामिन और आयरन के गुणों से भरपूर ये चीज़ दूध में उबालकर पिए मिलेंगे कई फायदें

रिपोर्टों और कुछ विशेषज्ञों के अनुसार, COVID -19 इस बार बच्चों और नौजवानों को अपना शिकार ज्यादा बना रहा है। ऐसे में डॉक्टर इस वायरस से बचे रहने के लिए व्यक्ति को अपनी इम्यूनिटी स्ट्रॉन्ग बनाए रखने की सलाह देते नजर आ रहे हैं।

खजूर में एंटी-ऑक्सीडेंट्स, एंटी-वायरल, विटामिन और आयरन के गुण मौजूद होते हैं। खजूर को दूध में उबालकर पीने से आप अपनी इम्यूनिटी मजबूत बनाए रख सकते हैं। कद्दू, सूरजमूखी, चिया व अलसी के बीजों के साथ दूध पीएं। इससे वायरल इन्फेक्शंस से बचाव होने के साथ सर्दी-खांसी व मौसमी बीमारियों से भी बचाव होता है। सूखे मेवों का दूध के साथ सेवन करने से इनकी पौष्टिकता बढ़ जाती है। मौसमी बीमारियों के अलावा यह डायबिटीज, ब्लड प्रेशर को भी कंट्रोल करने में मदद करता है।

हल्दी वाला दूध पीने से भी इम्यूनिटी में सुधार होता है। हल्दी में मौजूद एंटी-बैक्टीरियल, एंटी-इंफ्लेमेट्री, एंटी-कैंसर गुण शरीर को कई रोगों से सुरक्षा प्रदान करते हैं। दूध में अदरक मिलाकर पीने से भी फायदा होता है। अदरक में विटामिन, आयरन, कैल्शियम, एंटी-ऑक्सीडेंट, एंटी-वायरल गुण होते हैं।